Bigg Boss 19 से चर्चा में आईं तान्या मित्तल हाल ही में धार्मिक नगरी वृंदावन पहुंचीं, जहां उन्होंने प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज के दर्शन कर उनका आशीर्वाद लिया। इस आध्यात्मिक यात्रा के दौरान तान्या मित्तल ने वृंदावन के प्रसिद्ध बांके बिहारी मंदिर में भी पूजा-अर्चना की और भगवान श्रीकृष्ण के चरणों में माथा टेका। सोशल मीडिया पर तान्या का यह धार्मिक अंदाज अब तेजी से वायरल हो रहा है।

प्रेमानंद महाराज से मुलाकात का वीडियो हुआ वायरल
तान्या मित्तल ने प्रेमानंद महाराज से मुलाकात का एक वीडियो अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट पर शेयर किया है। वीडियो में वह अपने परिवार के साथ नजर आ रही हैं। वीडियो के कैप्शन में तान्या ने भावुक शब्दों में लिखा, “परम पूज्य प्रेमानंद जी महाराज से आज अपने भैया-भाभी, प्रिंसी दी, स्वीटी दी और अपनी प्यारी भतीजियों के साथ मिलने का सौभाग्य मिला। काश आज बड़ी मामी भी होतीं। उनके दिए हुए संस्कार हम सब बच्चों में आज भी जिंदा हैं और हमेशा रहेंगे।”
तान्या के इस पोस्ट से साफ झलकता है कि वह अपने पारिवारिक संस्कारों और आध्यात्मिक मूल्यों से गहराई से जुड़ी हुई हैं।
बांके बिहारी मंदिर में की पूजा
प्रेमानंद महाराज के दर्शन से पहले तान्या मित्तल वृंदावन स्थित बांके बिहारी मंदिर भी पहुंचीं। मंदिर में उन्होंने विधिवत दर्शन किए और भगवान श्रीकृष्ण से परिवार की सुख-समृद्धि और शांति की कामना की। मंदिर परिसर में तान्या को बेहद सादगी भरे अंदाज में देखा गया, जिसे उनके फैंस काफी पसंद कर रहे हैं।
फैंस कर रहे हैं जमकर तारीफ
तान्या मित्तल का यह आध्यात्मिक रूप उनके प्रशंसकों को काफी प्रभावित कर रहा है। सोशल मीडिया पर फैंस उनकी सादगी, संस्कार और श्रद्धा की जमकर तारीफ कर रहे हैं। कई यूजर्स ने कमेंट कर लिखा कि बिग बॉस जैसी ग्लैमरस दुनिया से जुड़ी होने के बावजूद तान्या का धार्मिक और पारिवारिक जुड़ाव प्रेरणादायक है।
बिग बॉस 19 के बाद बढ़ी लोकप्रियता
बिग बॉस 19 में नजर आने के बाद तान्या मित्तल की फैन फॉलोइंग में लगातार इजाफा हो रहा है। शो के बाद वह सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहती हैं और अपनी निजी जिंदगी के खास पल फैंस के साथ साझा करती रहती हैं। वृंदावन यात्रा से जुड़ा यह वीडियो भी तेजी से वायरल हो रहा है और एक बार फिर तान्या मित्तल सुर्खियों में आ गई हैं।कुल मिलाकर, तान्या मित्तल की यह धार्मिक यात्रा न सिर्फ उनकी आस्था को दर्शाती है, बल्कि यह भी बताती है कि शोहरत के बीच भी वह अपने संस्कारों और आध्यात्मिक मूल्यों को नहीं भूली हैं।
