UP Board Holistic Report Card: यूपी बोर्ड में बड़ा बदलाव, छात्रों को अब मिलेगी होलिस्टिक प्रोग्रेस कार्ड के साथ नई पहचान

UP Board Holistic Report Card

UP Board Holistic Report Card: उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UP Board) अब शिक्षा के पारंपरिक ढांचे से आगे बढ़ते हुए छात्रों के समग्र विकास को प्राथमिकता देने जा रही है। वर्ष 2025 से कक्षा 9 से 12 तक के छात्रों को पारंपरिक अंकों की मार्कशीट के साथ-साथ एक “होलिस्टिक प्रोग्रेस कार्ड” भी प्रदान किया जाएगा, जो केवल अकादमिक प्रदर्शन तक सीमित नहीं होगा, बल्कि छात्रों के व्यवहार, नेतृत्व क्षमता, खेल-कूद, कला और सामाजिक सोच जैसे गुणों का भी आंकलन करेगा।

क्या है होलिस्टिक प्रोग्रेस कार्ड?– UP Board Holistic Report Card

होलिस्टिक प्रोग्रेस कार्ड एक ऐसा समग्र मूल्यांकन टूल है, जो छात्रों की बहुआयामी प्रतिभाओं को समझने और उभारने के लिए बनाया गया है। इस कार्ड के जरिए विद्यार्थी की अकादमिक उपलब्धियों के साथ-साथ उसकी व्यक्तिगत और सामाजिक योग्यता की भी झलक मिलेगी। UP Board Holistic Report Card

उद्देश्य है – सिर्फ नंबर नहीं, व्यक्तित्व का भी मूल्यांकन।

एनसीईआरटी और यूपी बोर्ड की संयुक्त पहल

यूपी बोर्ड के सचिव भगवती सिंह ने बताया कि यह पहल राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP 2020) के अनुरूप है। इसके लिए एनसीईआरटी (राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद) और यूपी बोर्ड मिलकर योजना बना रहे हैं। UP Board Holistic Report Card

7 से 11 जुलाई तक प्रयागराज के झूंसी स्थित गोविंद बल्लभ पंत सामाजिक विज्ञान संस्थान में एक विशेष कार्यशाला आयोजित की जा रही है, जिसमें पूरे प्रदेश से लगभग 60 अधिकारियों और विशेषज्ञों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है।

प्रशिक्षण से मिलेगा ठोस क्रियान्वयन– UP Board Holistic Report Card

इस कार्यशाला में एनसीईआरटी के रिसोर्स पर्सन प्रशिक्षण देंगे ताकि यह प्रोग्रेस कार्ड व्यवहारिक रूप से सटीक, उपयोगी और सभी छात्रों के लिए समान रूप से फायदेमंद हो सके।

यह प्रशिक्षण इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि भविष्य में प्रश्नपत्रों का ढांचा और मूल्यांकन प्रक्रिया भी इसी कार्ड के अनुसार बदली जाएगी। इससे यूपी बोर्ड की परीक्षा प्रणाली सीबीएसई जैसे राष्ट्रीय बोर्ड्स के बराबर लाई जा सकेगी।

कैसे बदलेगी परीक्षा प्रणाली?– UP Board Holistic Report Card

  • प्रश्नपत्रों का मानकीकरण (Standardization) किया जाएगा।
  • मूल्यांकन में गुणवत्ता और विविधता का ध्यान रखा जाएगा।
  • छात्रों को केवल रटने के बजाय आवेदन और विश्लेषण आधारित सवालों से जूझना पड़ेगा।
  • हर छात्र का व्यक्तित्व मूल्यांकन भी शिक्षा का हिस्सा बनेगा।

इन संस्थानों की सहभागिता– UP Board Holistic Report Card

इस कार्यशाला में राज्य विज्ञान शिक्षा संस्थान, राज्य शिक्षा संस्थान, आंग्ल भाषा शिक्षण संस्थान, राज्य हिंदी संस्थान वाराणसी सहित प्रदेश भर के विशेषज्ञ भाग ले रहे हैं।

यह पहल न केवल मूल्यांकन पद्धति को आधुनिक बनाएगी, बल्कि विद्यार्थियों को जीवन के हर क्षेत्र में सक्षम बनाने की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम होगी।

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